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मंगलवार, 11 फ़रवरी 2020

हरियाणा के पृथला गांव ने दिया राष्ट्रीय एकता और विश्व बंधुत्व का संदेश





देवेंद्र गौतम
हरियाणा के पलवल जिले का एक छोटा सा गांव पृथला। 2 फरवरी से 8 फरवरी तक जीटी रोड से गुजरने वालों की निगाह बरबस सड़क से 100 मीटर की दूरी पर युवा गांधीवादी नेता राकेश तंवर के फार्महाउस में बने खूबसूरत पांडाल और उसके अंदर से उभरते राष्ट्रीय एकता से संबंधित गीतों की ओर आकृष्ट हो जाता था। रह-रहकर जोड़ो-जोड़ो, भारत जोड़ो के गगनभेदी नारे दूर-दूर तक गूंजने लगते थे।

दूर से ही फार्महाउस के बीच में बनी कोठी पर टंगे बैनर पर निगाह चली जाती थी जिसमें प्रसिद्ध गांधीवादी नेता सुब्बाराव जी की भव्य तस्वीर नज़र आती थी। उसके पास ही राकेश तंवर जी का फ्लेक्स दिखाई देते थे। उस अवधि में राष्ट्रीय युवा योजना के तहत राष्ट्रीय एकता सह शांति एवं सद्भावना शिविर चल रहा था। देश के 25 राज्यों के 350 प्रतिभागी आए हुए थे। उनके ठहरने और खाने-पीने की व्यवस्था फार्म हाउस के अंदर की गई थी। हर राज्य की टीम का एक प्रभारी था जो शिविर के निर्धारित कार्यक्रमों के अनुरूप उनकी भागीदारी को सुनिश्चित करता था।

उनकी सुविधाओं का ध्यान रखने के लिए राकेश तंवर जी के 100 से अधिक समर्थक दिन-रात लगे हुए थे। उनके भोजन की व्यवस्था फार्म हाउस में ही की गई थी।  प्रतिभागी अलग-अलग संस्कृतियों का प्रतिनिधित्व करते थे। अलग-अलग भाषाएं बोलते थे लेकिन एक दूसरे से इस कदर घुल-मिल गए थे कि उनके बीच फर्क कर पाना कठिन था।




2 फरवरी की दोपहर से प्रतिभागियों का पृथला आगमन शुरू हो गया। 3 फरवरी की दोपहर तक उनके निबंधन का कार्य किया गया और शाम को शिविर के विधिवत उद्घाटन के साथ सर्वधर्म प्रार्थना का आयोजन किया गया। पूरे छह दिनों तक विश्व के 11 प्रमुख धर्मों पर केंद्रित यह प्रार्थना प्रतिदिन की जाती थी। शिविर के दौरान पूरे दिन का कार्यक्रम तय किया गया है। इसके मुताबिक सारे प्रतिभागी सुबह 5.25 बजे उठकर प्रेरणा गीत गाते थे। 6 बजे से उनके लिए योग और व्यायाम की क्लास लगती थी। प्रतिदिन 7.30 बजे से 8 बजे तक झंडोतोलन का कार्यक्रम होता था। उस समय राष्ट्रीय गीत के साथ राष्ट्रीय एकता से संबंधित गीत गाए जाते थे। राष्ट्रीय झंडा फहराने के बाद राज्यवार कतारबद्ध प्रतिभागियों को इसकी महत्ता से अवगत कराया जाता था।  8.30 बजे से 10.30 बजे के बीच का समय श्रमदान का होगा। इसके तहत प्रतिभागियों ने दो दिनों तक भगोला और एक दिन पृथला के श्मशान की सफाई का कार्य किया।
प्रतिदिन 11.30 ले 12.30 के बीच भाषा विनिमय का कार्यक्रम होता था। इसके तहत दक्षिण भारत के युवको को उत्तर भारत और उत्तर भारत के युवकों को दक्षिण भारत की भाषाओं की जानकारी दी जाती थी। अस्पताल में इलाजरत होने के कारण सुब्बाराव जी शिविर में शामिल नहीं हो पाए लेकिन उनका लाइव संदेश आ जाता था जिसे पांडाल के अंदर प्रसारित किया जाता था। उनके संदेश से पूर्व और इसके उपरांत स्थानीय लोग भी अपने विचार रखते थे। शाम 4.30 से 5.15 बजे तक प्रतिभा विनिमय का कार्यक्रम होता था जिसमें एक दूसरे को अपनी प्रतिभा से अवगत कराते और प्रशिक्षण देते थे। प्रतिदिन शाम 5.15 ले 6 बजे तक पारंपरिक खेलों का आयोजन होता था। 7.30 बजे शाम को पुनः सर्वधर्म प्रार्थना का कार्यक्रम होता था। इसके बाद रात 9.30 बजे रात तक सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन होता था। रोज सोने के पहले डायरी लेखन का अभ्यास किया जाता था। यह कार्यक्रम 6 फरवरी तक चला। पूरे दिन समयबद्ध कार्यक्रम और अनुशासन के तहत प्रतिभागी राष्ट्रीय एकता और सर्वधर्म समन्वय का प्रशिक्षण लेते थे।
3 फरवरी को राकेश तंवर जी के फार्म हाउस में छह दिवसीय राष्ट्रीय एकता सह शांति एवं सद्भावना युवा शिविर का विघिवत उद्घाटन का कार्यक्रम भी यादगार रहा। उद्घाटन युवा गांधीवादी और शांतिकर्मी राकेश तंवर और रण सिंह परमार, सचिव एकता परिषद और राष्ट्रीय योजना के हाथों संयुक्त रूप से दीप प्रज्ज्वलित कर तथा महात्मा गांधी की प्रतिमा पर पुष्पार्पण के जरिए किया गया। इस अवसर पर 25 राज्यों के 322 प्रतिभागी मौजूद थे। उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए श्री रण सिंह परमार ने कहा कि आज देश में गांधी के विचारों की सबसे ज्यादा जरूरत है। युवाओं को राष्ट्र के नवनिर्माण में समर्पित होना होगा। गांधी के सपनों का देश बनाने के लिए उनका शिक्षण और प्रशिक्षण इन शिविरों को द्वारा ही होता है। श्रद्धेय सुब्बाराव जी ने अपना पूरा जीवन युवाओं के निर्माण में समर्पित कर दिया और वे युवा देश के नवनिर्माण में लगे हुए हैं। युवा भारत को संबोधित करते हुए युवा गांधावादी व शांतिकर्मा राकेश तंवर ने कहा कि आज देश को इन शिविरों की आवश्यकता है जिनसे ऐसा नौजवान तैयार हो रहा होगा जो सद्भाव और भाईचारे के लिए स्वयं को आहुत कर देगा। उन्होंने बताया कि कैसे भाई जी की प्रेरणा से वो देश के नवनिर्माण और शांति के प्रयासों में लगे हुए हैं। इसीलिए इस शिविर के आयोजन का सपना देखा। उन्होंने कहा कि भविष्य में भी इस तरह के शिविरों का आयोजन करते रहेंगा। यह शिविर प्रखर गांधीवादी सुब्बाराव जी की देखरेख में चल रहा है। उन्हें लिविंग गांधी कहा जाता है। स्वतंत्रता सेनानी सुब्बाराव जी 11 वर्ष की आयु से देश की सेवा में लगे रहे हैं। उन्होंने चंबल के 654 डाकुओं का आत्मसमर्पण कराया। उन्होंने मुख्य रूप से युवा वर्ग को एक नई दिशा देने के लिए नेशनल यूथ प्रोजेक्ट का गठन किया है।
6 फरवरी की सुबह झंडोत्तोलन और सर्व धर्म प्रार्थना के बाद राकेश तवंर जी के गांव पृथला के शिव मंदिर की सफाई की गई और शाम को शांति और सद्भाव एकता रैली के रूप में सभी प्रतिभागी रैली की शक्ल में पृथला शिव मंदिर पहुंचे और सांस्कृतिक संध्या का आयोजन किया। इसे देखने के लिए आसपास के गावों के लोग उमड़ पड़े।
7 फरवरी को सुब्बाराव जी का जन्मदिन और महात्मा गांधी का 150 वां जयंती समारोह एक साथ मनाया गया। इस मौके पर सुबह के समय झंडोत्तोलन और सर्वधर्म प्रार्थना के बाद सद्भावना मैच और रक्तदान शिविर का आयोजन किया गया। दिन के 2 बजे मुख्य कार्यक्रम में महात्मा गांधी, कस्तूरबा गांधी की प्रतिमाओं और सुब्बाराव जी की तस्वीर पर माल्यार्पण किया गया। इस मौके पर स्वागत भाषण देते हुए राकेश तंवर जी ने कहा कि यह हरियाणा के लिए गौरव का अवसर है। उन्होंने कहा कि भाई जी (सुब्बाराव जी) से वे 2007 से परिचित हैं और हमेशा उनकी सेवा में उपस्थित रहे हैं। उन्होंने कहा कि पृथला में देशभर के 350 युवा एकत्र हुए और तीन दिनों तक साफ-सफाई की, सांस्कृतिक कार्यक्रम पेश किए और राष्ट्रीय एकता का संदेश दिया। एक छोटे से प्रांगण में पूरा देश समा गया। यह बड़ी बात है।
इस मौके पर मैग्सेसे पुरस्कार से सम्मानित जल पुरुष के रूप में विख्यात राजेंद्र प्रसाद सिंह मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित थे। उन्होंने अपने अध्यक्षीय भाषण में कहा कि दुनिया को एक जोड़ने वाली शक्ति की जरूरत है। सुब्बाराव जी वही शक्ति हैं। वे पंच महाभूत को अपना ईश्वर मानते हैं। उसी की आराधना करते हैं। सुब्बाराव जी के वरिष्ठ सहयोगी वी आर कामराज ने अंग्रेजी शब्द ग्रेड के एक एक अक्षर की व्याख्या करते हुए युवाओं को प्रेरक संदेश दिया।
राकेश तंवर की धर्मपत्नी रेणु तंवर ने नारी शक्ति पर अपने विचार रखते हुए कहा कि जिस देश में नारी शक्ति का सम्मान होता है वही देश तरक्की करता है। मुंबई से आई ललिता जी ने सुब्बाराव पर केंद्रित अपनी 1340 पंक्तियों की कविता के एक अंश का पाठ किया जिसे काफी सराहा गया।
इस मौके पर हरिजन सेवक संघ के सचिव रजनीश जी ने कहा कि गांधी जी ने कहा था कि मरने के बाद बोलेंगे। वास्तव में आज उनके अनुयायी भाई जी ने कितने ही गांधी तैयार कर दिए। गांधी विचार के रूप में हमेशा जीवित रहेंगे।
इसी बीच भाई जी अर्थात सुब्बाराव जी का संदेश आ गया। उन्होंने उम्मीद जताई कि युवा योजना के तहत छोटे-छोटे झगड़ों को समाप्त कर देश को एकसूत्र में बांधा जाएगा। उन्होंने अपने संदेश में कहा कि चीन को अरूणाचल पर भारत का अधिकार स्वीकार नहीं है। हमें अरूणाचल के लोगों के बीच शिविर लगाना चाहिए।
हरिजन सेवक संघ के अध्यक्ष शंकर कुमार सान्याल ने कहा कि भाई जी का कोई विकल्प नहीं है। उनकी प्रतिभा उगते सूर्य के समान चारो तरफ प्रकाश फैला रही है।
इस बीच गुजरात के पंकज झाला ने सुब्बाराव के जन्मदिन पर विशेष रूप से प्रकाशित कैलेंडर और बैच को लांच कराया। इस कैलेंडर की खासियत यह है कि यह फरवरी से शुरू होकर जनवरी में समाप्त होता है। पंकज झाला हर वर्ष सुब्बाराव जी की जयंती पर इस कैलेंडर का प्रकाशन करते हैं। इस बार उन्होंने 10 हजार कैलेंडर छपवाए हैं।
मुबई से आए अनिल जी ने सुब्बाराव जी पर केंद्रित तीन एपिसोड की फिल्म बनाई है। उन्होंने सुब्बाराव जी के साथ पूर्वोत्तर के अनुभवों को साझा किया। हिमाचल प्रदेश से आए कपूर साहब ने राकेश तंवर जी को हिमाचल की टोपी पहनाकर सम्मानित किया और उनके पूरे परिवार को बधाई दी। 
कार्यक्रम के बीच-बीच में मधुभाई के गीत पूरे इलाके में गूंजने लगते थे। उनका गीत जय जगत-जय जगत-जय जगत पुकारे जा...शिविर में लोगों की ज़ुबान पर चढ़ गया था। राकेश तंवर जी के पुत्र कुशल तंवर और वंश तवर ने भी सांस्कृतिक कार्यक्रम में अपना सिक्का जमाया। कार्यक्रम को स्वामी जी, अशोक भारत, जितेंद्र चंदेलिया के अलावा प्रतिभागी युवाओं में से यश जैन, प्रीति शर्मा, गणेश, अशोक और विनोद ने भी संबोधित किया।
 8 फरवरी की सुबह शिविर का समापन हुआ। समापन समारोह को संबोधित करने के दौरान राकेश तंवर काफी भावुक हो उठे। 9 फरवरी तक प्रतिभागियों का प्रस्थान होता रहा।

सोमवार, 10 फ़रवरी 2020

मृत्युंजय कुमार सिंह के भोजपुरी उपन्यास के हिंदी संस्करण का लोकार्पण



कोलकाता।आइपीएस अधिकारी मृत्युंजय कुमार सिंह के भारतीय ज्ञानपीठ द्वारा प्रकाशित भोजपुरी उपन्यास गंगा रतन विदेशी का हिंदी संस्करण प्रकाशित हो चुका है। उसका विधिवत लोकार्पण कोलकाता पुस्तक मेला में हुआ।
अनुवाद स्वयं मृत्युंजय कुमार सिंह ने किया है और ज्ञानपीठ प्रकाशन ने ही प्रकाशित किया है। यह उपन्यास एतिहासिक पृष्ठभूमि पर आधारित एक काल्पनिक कथा है। खासतौर पर गिरमिटिया मजदूरों की त्रासदी को रेखांकित किया गया है।
पुस्तक का लोकार्पण भारतीय भाषा परिषद के शंभुनाथ वरिष्ठ पत्रकार और लेखक गीतेश, दैनिक सन्मार्ग के संपादक हरिराम पांडेय, ब्रेथवेट एंड कंपनी के सीएमडी यतीश कुमार और दैनिक जागरण के स्थानीय संपादक जय कृष्ण वाजपेयी ने संयुक्त रूप से किया। कार्यक्रम का संचालन रंगकर्मी एवं नायिका कल्पना झा ने किया। इस मौके पर भारतीय ज्ञानपीठ के प्रतिनिधि उत्तम बनर्जी समेत मेले में जुटे साहित्यकार और साहित्य प्रेमी काफी संख्या में मौजूद थे।

सोमवार, 3 फ़रवरी 2020

फिनोलेक्स केबल्स लि. के इलेक्ट्रानिक उत्पाद झारखंड के बाजारों में उपलब्ध


रांची। ख्यातिप्राप्त इलेक्ट्रिकल सामग्री निर्माता व आइएसओ-9001कंपनी फिनोलेक्स केबल्स लिमिटेड के उत्पाद अब झारखंड के बाजारों में उपलब्ध होंगे। कंपनी ने राजधानी रांची के मेन रोड पर अवस्थित महावीर टावर स्थित दधीचि सेल्स कॉर्पोरेशन को अपना अधिकृत विक्रेता (वितरक) नियुक्त किया है। इस संबंध में फिनोलेक्स केबल्स लिमिटेड के झारखंड ब्रांच हेड एसके लाल ने बताया कि कंपनी के उत्पादों की गुणवत्ता विश्वस्तरीय है। फिनोलेक्स केबल्स के प्रोडक्ट्स अन्य कंपनियों के उत्पादों की तुलना में बेहतर व किफायती भी है। कंपनी द्वारा निर्मित पंखे, वाटर हीटर, वायर एंड केबल्स, स्विच, लाइटिंग मेटेरियल्स सहित अन्य उत्पाद झारखंड में भी उपलब्ध कराए गए हैं। दधीचि सेल्स कारपोरेशन में एक ही छत के नीचे फिनोलेक्स केबल्स के प्रोडक्ट्स  उपलब्ध है।

रविवार, 2 फ़रवरी 2020

व्यवसायी एवं समाजसेवी राजकुमार सोमानी का निधन

गंधारा कंसल्टेंट के संस्थापक राजकुमार सोमानी का स्वर्गवास 2 फरवरी 2020 को हो गया. उनकी उम्र 58 वर्ष थी. स्वर्गीय सोमानी का परिवार 33 वर्ष पहले कोलकाता से रांची आया था. अपने मामा जी स्वर्गीय सीताराम जी मारू की प्रेरणा से सामाजिक कार्यों में सक्रिय योगदान दिया. शुरुआत में कपड़े का कारोबार किया, फिर विज्ञापन एजेंसी गंधारा कंसल्टेंट की स्थापना की. स्वर्गीय सोमानी संस्कृति बिहार,  राम कृष्ण मिशन, माहेश्वरी सभा आदि सामाजिक एवं आध्यात्मिक संस्थाओं से जुड़े थे. साथ ही रांची जिमखाना क्लब के सक्रिय सदस्य रहे. स्वर्गीय सोमानी अपने पीछे पत्नी एवं दो पुत्रों का परिवार छोड़ गए हैं. इनकी अंतिम यात्रा  तीन फरवरी को 11:00 बजे दिन में मोदी कंपाउंड लालपुर से मुक्तिधाम के लिए प्रस्थान करेगी.

पूर्व विधायक भुवनेश्वर प्रसाद सिंह उर्फ पप्पू बाबू की पुण्यतिथि मनी


* जनता के चहेते जनप्रतिनिधि थे पप्पू बाबू : अरुण कुमार सिंह


बख्तियारपुर / पटना : पूर्व विधायक व प्रखर राजनेता स्व.भुवनेश्वर प्रसाद सिंह उर्फ पप्पू बाबू की 13वीं पुण्यतिथि स्थानीय नुनुवती जगदेव सिंह महाविद्यालय परिसर में मनायी गयी। इस अवसर पर काॅलेज प्रांगण में आयोजित कार्यक्रम में कई राजनेता, समाजसेवी, प्रबुद्धजन व पत्रकार शामिल हुए।  सबों ने उनके चित्र पर माल्यार्पण कर उन्हें श्रद्धासुमन अर्पित किया। मौके पर पूर्व सांसद अरुण कुमार सिंह ने अपने संबोधन में कहा कि स्व.सिंह जनता के चहेते जनप्रतिनिधि थे। खासकर गरीबों और असहायों के लिए मसीहा के रूप में जाने जाते थे। पीड़ित मानवता की सेवा के प्रति उनकी तत्परता और सक्रियता अविस्मरणीय ही नहीं अनुकरणीय भी है। कार्यक्रम के दौरान बिहार सरकार के पूर्व मंत्री नरेंद्र सिंह, पूर्व मंत्री तेजप्रताप यादव, विधायक शक्ति सिंह यादव व राजद के पटना जिलाध्यक्ष देवमुनि सिंह यादव सहित अन्य ने भी उपस्थित जनसमूह को संबोधित किया। सबों ने एक स्वर में कहा कि जनप्रतिनिधि के रूप में स्व.सिंह का कार्यकाल सराहनीय रहा है। वे जनता के सुख-दुख में सदैव शामिल हुआ करते थे। जनसमस्याओं के प्रति सजग रहना उनकी दिनचर्या में शुमार रहता था। इस अवसर पर काफी संख्या में स्थानीय नागरिकों ने भी उनके चित्र पर माल्यार्पण कर उन्हें श्रद्धासुमन अर्पित किया।
र्व विधायक स्व.भुवनेश्वर प्रसाद सिंह की पुण्यतिथि के अवसर पर श्रद्धासुमन अर्पित करने जुटे राजनेताओं ने बिहार की नीतीश सरकार पर  पूर्वाग्रह से ग्रसित होकर अन्य दलों के राजनेताओं पर कार्यवाही करने का आरोप लगाया। पूर्व सांसद अरुण कुमार सिंह ने कहा कि लालू यादव के विरुद्ध मैने 15 वर्षो तक लड़ाई लड़ी। लेकिन लालू जी ने कभी मुझे परेशान करने का काम नही किया।लेकिन जिस नीतीश कुमार को मुख्यमंत्री बनाने के लिए मैने लालू जी से लड़ाई लड़ी,उसी नीतीश कुमार ने मुझ पर तीन दर्जन से भी ज्यादा मुकदमा लादने का काम किया है। वहीं पूर्व मंत्री नरेंद्र सिंह ने सरकार को चुनौती देते हुए कहा कि अगर नीतीश में दम है, तो मुझे गिरफ्तार करके दिखाये।उन्होंने कहा कि मुझ पर नीतीश कुमार ने इसलिए मुकदमा करवाने का काम किया है,क्योंकि मैंने सरकार की कमियो को उजागर करने का काम किया। पूर्व मंत्री ने कहा कि चाहे जो हो जाय लेकिन मैं डरनेवाला नही हूं।जबकि विधायक शक्ति सिंह यादव ने सरकार को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि पूरे बिहार में आज अराजकता की स्थिति है। शिक्षा,स्वास्थ्य, सड़क की स्थिति अत्यंत दयनीय है। उन्होंने कहा कि बिहार हत्या,बलात्कार व अपहरण जैसे संगीन अपराधों का पर्याय बन चुका है। कार्यक्रम को पटना जिला के राजद अध्यक्ष देवमुनि सिंह यादव,राजद नेत्री मधु सिंह,महाविद्यालय के सचिव कुमार निरजंन,प्रभारी डॉ. सुरेश द्विवेदी,डॉ. सतीश कुमार,संजय कुमार यादवेन्दु,प्रेमशंकर सिंह चौहान व विजय सिंह सहित कई लोगो ने संबोधित किया।मौके पर प्रो.मुरलीधर सिंह,प्रो.अलखदेव सिंह,प्रो. मिथलेश सिंह,प्रो. एम.एन.आई.सिद्दीकी,प्रो श्रीकांत सिंह,प्रो. श्रीकांत वर्मा,प्रो.अरविंद सिंह,तालकेश्वर सिंह व विनोद सिंह सहित सैकड़ों लोग उपस्थित थे।

बेहतर बुनियादी सुविधाएं मेरी प्राथमिकता: उर्मिला यादव

वार्ड 41 की सड़कें हुईं चकाचक


रांची। रांची नगर निगम के वार्ड संख्या 41 की सड़कें चकाचक हो गई है। सड़क निर्माण होने से इस क्षेत्र के निवासियों को काफी राहत मिली है। एचईसी आवासीय परिसर के साइट 4 के चारों तरफ मोहल्ले की सड़कें काफी दिनों से मरम्मत की बाट जोह रही थी। नगर निगम के फंड से वार्ड पार्षद की अनुशंसा पर उक्त सड़कों का निर्माण कार्य पूरा कर लिया गया है। गुणवत्तापूर्ण सड़क निर्माण के प्रति वार्ड पार्षद उर्मिला यादव काफी तत्परता से जुटी रहीं। फलस्वरूप वार्ड 41 के अंतर्गत विभिन्न मोहल्लों में गुणवत्तापूर्ण सड़क का निर्माण संभव हो सका। इस संबंध में वार्ड पार्षद श्रीमती यादव ने बताया कि लगभग डेढ़ करोड़ की लागत से वार्ड 41 के अंतर्गत साइट 4 मोहल्ले के चारों ओर तकरीबन 3.5 किलोमीटर पक्की सड़क का निर्माण कार्य पूरा कर लिया गया है। सड़क बन जाने से इस क्षेत्र के निवासियों को आवागमन करने में अब परेशानी नहीं होगी। उन्होंने कहा कि उनके वार्ड क्षेत्र अंतर्गत नागरिकों को बेहतर बुनियादी सुविधाएं मुहैया कराने के प्रति वे सदैव प्रयासरत हैं। इस दिशा में उनकी उल्लेखनीय उपलब्धियां रही हैं। उनके क्षेत्र में बिजली, पेयजल, सड़क जैसी आवश्यक बुनियादी सुविधाएं लोगों को बेहतर ढंग से दी जा रही है। उन्होंने कहा कि उनके वार्ड में नियमित रूप से स्वच्छता के प्रति लोगों को जागरूक किया जा रहा है। जल्द ही उनका वार्ड एक आदर्श वार्ड के रूप में अपनी पहचान स्थापित करेगा। वार्ड को पॉलिथीन मुक्त क्षेत्र घोषित करने की दिशा में भी वह सतत प्रयासरत हैं।

मुंगेरीलाल के हसीन सपने जैसा बजट:नंदकिशोर यादव


रांची। नागरिक अधिकार पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष नंदकिशोर यादव ने कहा है कि केंद्र सरकार द्वारा पेश किया गया बजट पूरी तरह से दिशाहीन वह निराशाजनक है। बजट में बेरोजगारी, बढ़ती हुई महंगाई, तेजी से गिरते विकास दर, ग्रामीण अर्थव्यवस्था पर कोई फोकस नहीं किया गया है। किसानों, महिलाओं और युवाओं के लिए बजट में कोई विशेष प्रावधान नहीं किया जाना केंद्र की भाजपानीत सरकार के मंशा जाहिर करता है। उन्होंने कहा कि वर्ष 2019 की तरह ही यह बजट भी मुंगेरीलाल के हसीन सपने के समान है। आयकर स्लैब को इसमें और अधिक उलझा दिया गया है। रोजगार और अर्थव्यवस्था पर सरकार ने कुछ विशेष प्रावधान नहीं किया है। उन्होंने कहा कि देश की सबसे प्रमुख समस्या बेरोजगारी है, लेकिन केंद्रीय बजट में बेरोजगारी दूर करने संबंधी कोई रणनीति नहीं बनाई गई है, जिससे युवाओं को रोजगार प्राप्त हो सके। कुल मिलाकर बजट निराशाजनक और दिशाहीन है।

स्वर्ण जयंती वर्ष का झारखंड : समृद्ध धरती, बदहाल झारखंडी

  झारखंड स्थापना दिवस पर विशेष स्वप्न और सच्चाई के बीच विस्थापन, पलायन, लूट और भ्रष्टाचार की लाइलाज बीमारी  काशीनाथ केवट  15 नवम्बर 2000 -वी...